पंजाब सरकार ने ग्रामीण विकास खंडों के पुनर्गठन को मंजूरी दी, प्रशासनिक दक्षता में होगा सुधार

पंजाब सरकार ने मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में ग्रामीण विकास खंडों के पुनर्गठन को मंजूरी दी, जिससे प्रशासनिक दक्षता और योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित होगा।

पंजाब सरकार: पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व वाली कैबिनेट ने एक महत्वपूर्ण प्रशासनिक सुधार के तहत ग्रामीण विकास खंडों के पुनर्गठन को मंजूरी दे दी है। इस कदम का उद्देश्य जिला सीमाओं के साथ विकास खंडों को संरेखित कर प्रशासनिक दक्षता बढ़ाना, दोषरहित योजना बनाना और विकास योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन को सुनिश्चित करना है।

मुख्यमंत्री भगवंत मान की अध्यक्षता में हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में लिया गया यह निर्णय पंजाब के ग्रामीण क्षेत्रों में शासन और सेवा वितरण में सुधार लाने के लिए एक अहम पहल है। इस पुनर्गठन के तहत विशेष रूप से संगरूर, मलेरकोटला, फाजिल्का, फिरोजपुर, एसएएस नगर और पटियाला जिलों को लाभ होगा।

मुख्यमंत्री कार्यालय के एक प्रवक्ता ने बताया कि विकास खंडों के अधिकार क्षेत्र को मौजूदा जिला सीमाओं के अनुरूप लाने से ब्लॉक-स्तरीय और जिला-स्तरीय प्रशासन के बीच बेहतर समन्वय संभव होगा। इससे ग्रामीण विकास योजनाओं की योजना और क्रियान्वयन प्रक्रिया सुव्यवस्थित होगी तथा प्रशासनिक ओवरलैप और उससे उत्पन्न होने वाली देरी और अक्षमताओं को भी खत्म किया जा सकेगा।

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इस पुनर्गठन की प्रक्रिया में सभी आवश्यक कानूनी और प्रशासनिक प्रक्रियाओं का पालन किया गया है। पंजाब सरकार का लक्ष्य इस पहल के माध्यम से जिला स्तर पर नियोजन और निगरानी तंत्र को मजबूत बनाना है ताकि ब्लॉक और जिला स्तर के आंकड़ों और निर्णय लेने की प्रक्रिया का निर्बाध समन्वय हो सके। साथ ही, यह कदम नागरिकों और पंचायत राज संस्थाओं को बेहतर सेवा पहुंचाने में भी सहायक सिद्ध होगा।

राज्य सरकार ने यह भी बताया है कि पुनर्गठित विकास खंड आधिकारिक राजपत्र में अधिसूचना के प्रकाशन के साथ ही प्रभावी हो जाएंगे। इसके अलावा, क्षेत्रीय अधिकारी, निर्वाचित प्रतिनिधि और आम जनता को विधिवत सूचित कर दिया गया है। अद्यतन मानचित्र और प्रशासनिक आदेश जल्द ही ग्रामीण विकास विभाग की आधिकारिक वेबसाइट पर उपलब्ध कराए जाएंगे।

यह सुधार पंजाब सरकार की पारदर्शी, उत्तरदायी और विकेंद्रीकृत ग्रामीण शासन की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। इस पहल से राज्य में ग्रामीण विकास योजनाओं के कार्यान्वयन में समग्र दक्षता और प्रभावशीलता में वृद्धि की उम्मीद है।

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