Sri Harmandir Sahib: एसजीपीसी के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने कहा कि कार्यकारिणी की बैठक में भाजपा सांसद कंगना की ओर से पंजाब और पंजाबियों के खिलाफ की गईं घृणित टिप्पणियों की निंदा की गई।
Sri Harmandir Sahib: प्रबंधक कमेटी की कार्यकारिणी की बैठक में शिरोमणि गुरु ने मंडी से भाजपा सांसद कंगना रणौत के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने का प्रस्ताव पारित किया है।
भाजपा सांसद कंगना के खिलाफ मामला दर्ज करने की मांग की गई, एसजीपीसी के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने बताया। उनका कहना था कि पंजाब की आम आदमी पार्टी सरकार का कंगना के नफरतपूर्ण और पंजाब विरोधी भाषण पर कार्रवाई नहीं करना राज्य के प्रतिनिधित्व से मुंह मोड़ने की तरह है।
साथ ही, कार्यकारिणी ने एक और प्रस्ताव पारित करते हुए सरकार से राजस्थान में पिछले दिनों अमृतधारी सिख अभ्यर्थियों को धार्मिक दंड देने के लिए मजबूर करने के मामले में दोषी अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। धामी ने कहा कि केंद्र सरकार को आरोपियों के खिलाफ धार्मिक भावनाएं भड़काने का मामला दर्ज कर कार्रवाई करनी चाहिए। अमृतपान करने वाले सिख अभ्यर्थियों को ककार उतारने के लिए मजबूर करना सिखों के से भेदभाव है। भारतीय संविधान का अनुच्छेद 25 कहता है कि सिखों को कृपाण धारण करने का अधिकार है। Rajasthan में की गई मनमानी कार्रवाई संविधान का स्पष्ट उल्लंघन है। केंद्र सरकार को पत्र लिखने के अलावा, कानूनी विशेषज्ञों का कहना है कि एसजीपीसी इस मामले में आगे की कार्रवाई करेगी।
स्वर्ण मंदिर ने योग पर कहा कि जानबूझकर की गई गलतियों को क्षमा नहीं दी जा सकती
श्री हरिमंदिर साहिब में योग करने वाली एक युवती पर धामी ने कहा कि इस घटना पर कई लोगों ने अपने विचार व्यक्त किए हैं। युवती ने भी लिखित माफी भेजी है, लेकिन हर धार्मिक स्थान में कुछ नियम हैं। जानबूझकर की गई गलती क्षमा योग्य नहीं है। भविष्य में परिसर में फोटोग्राफी और वीडियोग्राफी पर नियम बनाए जाएंगे, लेकिन तत्काल प्रभाव से किसी भी कलाकार या अभिनेता को यहां प्रचार करने के लिए वीडियोग्राफी करने पर रोक लगा दी गई है।
राहुल गांधी के अभय मुद्रा वाले बयान पर आपत्ति
SGP ने अभय मुद्रा को सिखों के पहले गुरु साहिब से जोड़ने पर भी आपत्ति जताई। उनका कहना था कि गुरुओं की शिक्षाओं और पवित्र गुरबाणी का सम्मान किया जाना चाहिए। इसे राजनीतिक चर्चा में शामिल नहीं किया जाना चाहिए। इस संबंध में पारित प्रस्ताव में कहा गया है कि गुरुओं के मूल सिद्धांतों और पवित्र गुरबाणी के अर्थ की अक्सर राजनेता गलत व्याख्या करते हैं, जिससे विद्यार्थियों की भावनाएं खराब होती हैं। धामी ने कहा कि राहुल गांधी ने संसद में श्री गुरु नानक देव जी का जिक्र करते हुए कहा कि गुरु साहब का स्वरूप अभय मुद्रा दर्शाता है, यह बिल्कुल गलत है। प्रस्ताव में स्पष्ट किया गया कि गुरु साहिब ने किसी भी तरह की मुद्रा या आसन की अनुमति नहीं दी है; उन्होंने सिर्फ एक अकाल पुरख से जुड़ने की सलाह दी है। इस प्रस्ताव के माध्यम से कार्यकारिणी ने राज्यसभा और लोकसभा दोनों के अध्यक्षों से अपील की है कि वे यह सुनिश्चित करें कि संसद की कार्यवाही के दौरान किसी की धार्मिक भावनाएं आहत न हों।