Ashadha Amavasya 2024: जुलाई में आषाढ़ अमावस्या है, इस दिन पितरों के निमित्त तर्पण करने से पितृदोष दूर होगा।

Ashadha Amavasya 2024: आज हम आपको आषाढ़ की अमावस्या तिथि और पितरों को तर्पण करने का समय बताएंगे।

Ashadha Amavasya 2024: अमावस्या तिथि को दान करना बहुत शुभ है। हिंदू धर्म के अनुयायी इस दिन पवित्र नदियों में स्नान करते हैं, पितरों के निमित्त तर्पण करते हैं और दान देते हैं। इस दिन कई अन्य धार्मिक कार्य भी करना शुभ माना जाता है। इस दिन तर्पण करने से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है। अब आइए जानते हैं कि इस वर्ष आषाढ़ माह की अमावस्या तिथि किस दिन है और आपको पितरों की पूजा और तर्पण कब करना चाहिए।

आषाढ़ अमावस्या, 2024

हिंदू धर्म में पितरों को देवताओं का दर्जा दिया गया है। माना जाता है कि अगर हमारे पितृ खुश हैं तो जीवन में कई मुसीबत दूर हो जाती हैं। वहीं आपको अपने पितृ की नाराज़गी से जीवन भर संघर्ष करना पड़ सकता है। इसलिए अमावस्या तिथि पर पितरों की आत्मा की शांति और उनका आशीर्वाद पाने के लिए हर महीने दान और तर्पण करना शुभ है। हिंदू पंचांग में इस समय आषाढ़ का महीना है। आषाढ़ अमावस्या 5 जुलाई, शुक्रवार को है।

कब और कैसे तर्पण करें

पितरों को तर्पण करने का सबसे अच्छा समय सुबह होता है। सूर्योदय के समय स्नान और ध्यान करने के बाद आपको पितरों को तर्पण करना चाहिए। पितृ तर्पण में आपको कुश, काले तिल और सफेद पुष्प का उपयोग करना चाहिए। पिता को दक्षिण दिशा में मुख करके तर्पण किया जाता है। पितरों को तर्पण करते समय उनका ध्यान रखना चाहिए और उनसे सुख-समृद्धि की कामना करनी चाहिए।

पितरों को आषाढ़ अमावस्या पर तर्पण देने के लाभ

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