DTC में करीब 25 हजार कॉन्ट्रैक्ट वर्कर्स की सैलरी जल्द बढ़ सकती है। डीटीसी अधिकारियों ने एक आरटीआई के जवाब में कहा कि कर्मचारियों का बेसिक, ग्रेड पे और डीए बढ़ाने का मामला विचाराधीन है।
दिल्ली परिवहन निगम (DTC) में करीब 25 हजार कॉन्ट्रैक्ट वर्कर्स की सैलरी जल्द बढ़ सकती है। डीटीसी ने एक आरटीआई के जवाब में यह कहा है।
डीटीसी अधिकारियों ने एक कर्मचारी की आरटीआई के जवाब में कहा कि कर्मचारियों का बेसिक, ग्रेड पे और डीए बढ़ाने का मामला विचाराधीन है। डीटीसी ने हालांकि एक से डेढ़ दशक पुराने कर्मचारियों को स्थायी करने का स्पष्ट इनकार कर दिया है। अधिकारियों का कहना है कि संविदा कर्मचारियों को स्थायी करने के कोई मामले विचाराधीन नहीं हैं।
डीटीसी कर्मचारी एकता यूनियन ने दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले अपनी मांगों को लेकर कई बार डीटीसी मुख्यालय पर धरना दिया था। तत्कालीन सरकार ने आचार संहिता लागू होने से पहले कर्मचारियों के वेतन बढ़ाने की मांग पर सैद्धांतिक सहमति दी थी।
दिल्ली में रेखा गुप्ता की अगुवाई वाली भाजपा सरकार घाटे में चल रही डीटीसी की हालत सुधारने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है। दिल्ली की सीएम रेखा गुप्ता ने पूर्ववर्ती आम आदमी पार्टी (आप) सरकार पर डीटीसी को बर्बाद करने का आरोप लगाया।
वार्ता के अनुसार, मुख्यमंत्री ने दिल्ली विधानसभा में डीटीसी से जुड़ी कैग रिपोर्ट पर कहा कि “आप” की सरकार ने डीटीसी को बहुत बुरी स्थिति में डाल दिया है। ‘आप’ सरकार ने दिल्ली की यातायात आवश्यकताओं को पूरा करने वाली DTC को घाटे में डाल दिया है। पूर्ववर्ती सरकार ने कुछ भी नहीं किया। दिल्ली में 814 रूट थे, लेकिन बस नहीं चलती थी; बस केवल 400 रूट पर चलती थीं।
“कैग रिपोर्ट पढ़ते हुए मुझे ये लगा कि डीटीसी का दुरुपयोग और कुप्रबंधन करके इसे बर्बाद कर दिया गया,” उन्होंने कहा। यह भी आय का साधन हो सकता था, लेकिन “आप” ने सिर्फ नुकसान उठाया। ये लोग केंद्र से मिले 233 करोड़ रुपये को भी खर्च नहीं कर पाए; 60 करोड़ रुपये का नुकसान 80 करोड़ रुपये हो गया है।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि बसों को ठीक करने में देरी से 668 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। केंद्र सरकार ने बसों को खरीदने के लिए 233 करोड़ रुपये दिए, लेकिन पिछली सरकार ने इसे नहीं खर्च किया। उनका कहना था, “2015 में बसों की संख्या 4344 थी, वह 2023 में घटकर सिर्फ 3937 रह गई है, और अब भी उसमे कमी है।””
उन्होंने कहा कि अभी भी डीटीसी के चार हजार चालक बिना काम के वेतन ले रहे हैं। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार सुविधा को बेहतर बनाएगी। अंतरराज्यीय बस अड्डों को विकसित किया जाएगा।”