Arvind Kejriwal:-
Arvind Kejriwal: 17 महीने की कैद से रिहा होने के बाद दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के इस्तीफे से सरकार को खतरा हो सकता था।
17 महीने की कैद से रिहा होने के बाद दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के इस्तीफे से सरकार को खतरा हो सकता था। जब उनसे पूछा गया कि क्या सिसोदिया ने जेल जाने के बाद पद छोड़ दिया, तो केजरीवाल ने ऐसा क्यों नहीं किया? सिसोदिया ने कहा कि केजरीवाल ने भाजपा की साजिश को रोकने के लिए इस्तीफा नहीं दिया।
पीटीआई को दिए इंटरव्यू में सिसोदिया ने कहा कि उन्होंने सरकार का कामकाज प्रभावित न करने के लिए तुरंत इस्तीफा दे दिया क्योंकि उनके पास कई विभाग थे। पूर्व उपमुख्यमंत्री ने कहा कि एक मंत्री को जेल में डालने से सरकार गिरती नहीं है। एक मंत्री को अंदर डालने पर मुख्यमंत्री दूसरा मंत्री बना सकते हैं, जबकि सीएम को जेल में डालने पर तो सरकार ही खत्म हो जाएगी।
केजरीवाल सरकार, हालांकि, विधानसभा में पूर्ण बहुमत है। 2020 में आम आदमी पार्टी ने 70 में से 62 सीटों पर जीत हासिल की थी।
सिसोदिया ने कहा, ‘जब मैं अंदर गया तो उस वक्त की स्थिति थोड़ी अलग थी। सत्येंद्र जैन जी अंदर थे। उनका इस्तीफा नहीं हुआ था। फिर मुझे भी बुलाया गया, तो अचानक मुझे इतने सारे विभाग देखने का प्रश्न पूछा गया। सीएम की भूमिका अलग है; वह सुपरवाइजरी, सीएम की सलाहकार और कैबिनेट अध्यक्ष होता है। लेकिन मंत्री सरकार की दैनिक कार्यवाही पर उत्तरदायी है। मेरे पास इतने विभाग थे, उनके काम प्रभावित ना हो इसलिए मैंने तुरंत इस्तीफा दिया।’
केजरीवाल का दाएं हाथ मानने वाले सिसोदिया ने कहा, ‘मंत्री को अंदर डालने से सरकार नहीं गिरती है। यह रुझान जोर नहीं पकड़ेगा अगर एक मंत्री की जगह दूसरा आ जाएगा। केंद्र सरकार की पार्टी यदि चाहे कि यह मंत्री मुझे अच्छा नहीं लगता है तो कोई बात नहीं अंदर डाल दो। मुख्यमंत्री एक अतिरिक्त मंत्री नियुक्त करेगा। लेकिन अगर आप मुख्यमंत्री को अंदर डाल देंगे तो क्या सरकार समाप्त हो जाएगी? यह ट्रेंड खतरनाक है। इसलिए दोनों अलग हैं। 21 मार्च से दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जेल में हैं। 21 दिनों की अंतरिम जमानत के दौरान भी उन्हें सीएम दफ्तर नहीं जाने दिया गया था।
केजरीवाल ने कहा कि वह जेल में रहकर ही सरकार चलाएंगे और इस्तीफा नहीं देंगे। साथ ही, केजरीवाल और आम आदमी पार्टी ने दावा किया कि उन्होंने दिल्ली की जनता से बातचीत की थी, जिसमें उन्होंने बताया कि दिल्लीवासी चाहते हैं कि केजरीवाल जेल से ही सरकार चलाएं।