स्वास्थ्य

Leg Joints Pain Remedies: पैरों में लगातार दर्द हल्का या घात, संकेत देखते ही सतर्क हो जाएं, बाबा रामदेव से हड्डियों की मजबूती का उपचार जानें

Leg Joints Pain Remedies: जोड़ों का दर्द गर्मियों में अधिक होता है। स्वास्थ्यहीन जीवनशैली और कम पानी पीने से हड्डियां कमजोर होने लगती हैं। जिससे कम उम्र में जॉइंट पेन की समस्या शुरू हो गई है। बाबा रामदेव से जोड़ों के दर्द का सही उपचार जानें।

Leg Joints Pain Remedies By Ramdev: युवाओं में हड्डियों से जुड़ी बीमारी पिछले कुछ वर्षों में तेजी से बढ़ी है। 20 साल की उम्र में ही मिश्री की हड्डियां कमजोर हो जाती हैं। विटामिन D की कमी, स्मोकिंग-एल्कोहल की आदत, चलने-फिरने की कमी, मोटापा और शरीर में कैल्शियम की कमी से बोन डेंसिटी कम होती है। जो ऑस्टियोपोरोसिस और आर्थराइटिस से पीड़ित हैं। इन दिनों, सबसे बड़ी समस्या पैरों में दर्द है; खराब जूते पहनना; या लंबे समय तक पैर लटकाकर बैठना। ये कारण पैर दर्द की वजह तो हैं ही लेकिन इसके साथ लाइफ स्टाइल की पुरानी बीमारी भी पैरों पर अटैक कर रही है।

कुछ लोगों को एड़ी के पास पैर के तलवे में चुभने वाले दर्द की शिकायत होती है, जबकि कुछ लोगों को एड़ी और टखने के बीच दर्द रहता है। कई लोग न्यूरोपैथिक पेन यानि नर्वस सिस्टम में आई गड़बड़ी की वजह से दर्द में हैं। तो मांसपेशियों में आई दिक्कत भी लोगों को परेशान करती है। ऐसे में हड्डी या जोड़ों के दर्द से राहत पाने के लिए स्वामी रामदेव से जानते हैं कुछ असरदार उपाय।

ज्वाइंट्स पेन में रहें सावधान

  • वजन ना बढ़ने दें
  • स्मोकिंग से बचें
  • पॉश्चर सही रखें

गर्मी में ज्वाइंट्स पेन की वजह

  • शरीर में पानी की कमी
  • हवा में ज्यादा नमी
  • ठंडा पानी, कोल्ड ड्रिंक
  • एसी-कूलर की हवा
  • मिनरल्स की कमी

गठिया दर्द में मिलेगा आराम 

  • गुनगुने सरसों के तेल की मालिश करें
  • दर्द की जगह गर्म पट्टी बांधें
  • गुनगुने पानी में सेंधा नमक डालकर सिकाई करें

पैरों में दर्द का कारण बन सकती हैं ये बीमारी

  • डायबिटीज
  • हाइपरटेंशन
  • हाई कोलेस्ट्रॉल

गठिया की बीमारी यूथ पर भारी

  • एक पॉश्चर में बैठना
  • गलत खानपान
  • ज्यादा वजन
  • विटामिन D की कमी
  • कैल्शियम की कमी

जोड़ों में दर्द होने पर परहेज

  • प्रोसेस्ड फूड
  • ग्लूटेन फूड
  • अल्कोहल
  • ज्यादा चीनी-नमक

बोन डेंसिटी स्केल

स्वस्थ हड्डी

T स्कोर -1 से ज्यादा

ऑस्टियोपीनिया

T स्कोर -1 से -2.5

ऑस्टियोपोरोसिस 

T स्कोर – 2.5 से कम

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