पंजाब सरकार ने प्रमाणित पेशेवरों के पैनल के लिए नई नीति शुरू की, राज्य को देश का औद्योगिक हब बनाने का लक्ष्य
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने प्रमाणित पेशेवरों के पैनल के लिए नई नीति शुरू की, जिससे राज्य को देश का प्रमुख औद्योगिक हब बनाने और युवाओं के लिए रोजगार बढ़ाने में मदद मिलेगी।
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने औद्योगिक विकास को तेज करने और युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर सृजित करने के उद्देश्य से प्रमाणित पेशेवरों के पैनल के गठन के लिए नई नीति की शुरुआत की। इस पहल के जरिए पंजाब को देश के प्रमुख औद्योगिक केंद्र के रूप में स्थापित करने का लक्ष्य रखा गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि यह नीति उद्योगों के नियामक अनुमोदन को सुव्यवस्थित करते हुए पर्यावरण सुरक्षा को भी सुनिश्चित करेगी। नीति के तहत खाद्य प्रसंस्करण, कपड़ा, ऑटो कंपोनेंट्स, साइकिल निर्माण, आईटी, पर्यटन सहित कई क्षेत्रों में विकास को बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने पंजाब को एक विश्व स्तरीय निवेश आकर्षक स्थल के रूप में भी चित्रित किया।
पंजाब सरकार ने ‘राइट टू बिजनेस एक्ट’ के अंतर्गत 45 दिनों में मंजूरी और 3 दिनों में सैद्धांतिक मंजूरी देने जैसे सुधार किए हैं। नई नीति में प्रदूषण नियंत्रण बोर्डों के सेवानिवृत्त पर्यावरण इंजीनियर और अन्य योग्य पेशेवरों को तीसरे पक्ष के सत्यापन के लिए नियुक्त किया जाएगा। ये पेशेवर औद्योगिक परियोजनाओं के पर्यावरणीय अनुमोदन, संचालन की सहमति, और निगरानी का काम करेंगे
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने कहा कि यह देश में अपनी तरह की पहली नीति है जो तेजी से औद्योगिक अनुमोदन और कड़े पर्यावरण संरक्षण के बीच संतुलन बनाती है। इससे उद्योगों पर अनुपालन बोझ कम होगा और पंजाब के युवाओं के लिए स्वच्छ पर्यावरण तथा रोजगार के नए अवसर सुनिश्चित होंगे।
उन्होंने उद्योगपतियों, पेशेवरों और पंजाब प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से मिलकर एक पर्यावरणीय रूप से टिकाऊ और विश्व स्तरीय औद्योगिक पंजाब बनाने का आह्वान किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि पंजाब अब ‘ब्रेन ड्रेन’ की बजाय ‘ब्रेन गेन’ की ओर बढ़ रहा है और यह नीति युवाओं के लिए अवसरों को और बढ़ाएगी।
इस अवसर पर विज्ञान, प्रौद्योगिकी एवं पर्यावरण सचिव प्रियांक भारती और पंजाब प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की अध्यक्ष रीना गुप्ता भी मौजूद थीं।