दिल्ली बाढ़ अपडेट: दिल्ली में यमुना के बढ़ते जलस्तर से बाढ़ की स्थिति, मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने राहत शिविरों का दौरा कर बाढ़ प्रभावितों को हर संभव मदद का भरोसा दिलाया।
दिल्ली बाढ़ अपडेट: दिल्ली में यमुना नदी के जलस्तर में लगातार वृद्धि के कारण कई इलाकों में बाढ़ की स्थिति उत्पन्न हो गई है। इस बीच, मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने मंगलवार को गीता कॉलोनी फ्लाईओवर के पास बनाए गए राहत शिविर और पुराने लोहे के पुल का दौरा किया। उन्होंने बाढ़ पीड़ित परिवारों से मुलाकात कर उनकी समस्याएं सुनीं और प्रभावितों को हर संभव सहायता का भरोसा दिलाया।
मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने दी राहत शिविरों का दौरा
मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने राहत शिविरों का निरीक्षण करते हुए अधिकारियों को कड़े निर्देश दिए कि शिविरों में किसी भी बाढ़ प्रभावित व्यक्ति को भोजन, स्वच्छ पेयजल, दवा और सुरक्षित आश्रय की कमी न हो। उन्होंने कहा,
“सरकार की प्राथमिकता बाढ़ प्रभावितों की सुरक्षा और स्वास्थ्य सुनिश्चित करना है।”
उन्होंने बताया कि हथिनी कुंड बैराज से छोड़ा गया पानी शाम तक दिल्ली पहुंचेगा, लेकिन फिलहाल स्थिति नियंत्रण में है। यमुना और आसपास के नालों की सफाई पिछले छह महीनों में की गई है, जिससे बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत मिली है। यमुना के सभी बैराज के गेट खोल दिए गए हैं और पानी निर्बाध रूप से बह रहा है।
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यमुना के जलस्तर को लेकर सीएम का विश्वास
सीएम रेखा गुप्ता ने कहा कि यमुना का फ्लड प्लेन पानी से भरना स्वाभाविक है क्योंकि यह नदी का प्राकृतिक इलाका है। हालांकि, दिल्ली के बाहरी इलाकों में पानी के फैलने की कोई संभावना नहीं है। उन्होंने दिल्लीवासियों को घबराने की जरूरत नहीं होने की बात भी स्पष्ट की।
अन्य राज्यों के मुख्यमंत्रियों से की फोन पर बात
बाढ़ प्रभावित अन्य राज्यों के मुख्यमंत्रियों से भी मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने बातचीत की। इनमें जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब और हरियाणा के मुख्यमंत्री शामिल थे। उन्होंने इन राज्यों में भारी बाढ़ से हुए नुकसान पर चिंता जताई और कहा कि दिल्ली सरकार इस संकट के समय में हर संभव मदद के लिए तैयार है।
सरकार का बयान: हालात को नहीं होने दिया जाएगा बिगड़ने
हर साल मानसून के दौरान हथिनी कुंड बैराज से पानी छोड़े जाने के कारण यमुना का जलस्तर बढ़ता है, जिससे यमुना बाजार, मजनूं का टीला, गीता कॉलोनी और लोहे के पुल जैसे निचले इलाके प्रभावित होते हैं। इस बार भी बाढ़ के कारण कई लोग राहत शिविरों में शरण लेने को मजबूर हुए। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार पूरी तरह से तैयार है और स्थिति को बिगड़ने नहीं दिया जाएगा।
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