कुछ बड़ा होने वाला है! PM Narendra Modi ने एनएसए अजीत डोभाल के साथ एक महत्वपूर्ण बैठक की

पहलगाम में आतंकी हमले के बाद भारत सरकार ने पाकिस्तान के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है, जिसमें 26 लोगों की जान गई। PM Narendra Modi ने गृह सचिव और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल के साथ उच्च स्तरीय बैठकें कीं।
PM Narendra Modi: भारत सरकार ने जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के खिलाफ सख्त रुख अपनाया है। इस हमले में 26 लोग मारे गए, जिससे देश भर में क्रोध है। केंद्रीय सरकार आतंकवाद के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई की योजना बनाने में व्यस्त है। हमले के बाद से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लगातार उच्च-स्तरीय बैठकों का आयोजन किया है। सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल से एक महत्वपूर्ण बैठक की। इस बैठक के तुरंत बाद पीएम ने गृह सचिव गोविंद मोहन से भी मुलाकात की।
PM Narendra Modi के पहलगाम हमले के बाद निरंतर बैठकें
PM Narendra Modi ने पहलगाम हमले के तुरंत बाद अपनी दो दिवसीय यात्रा को बीच में समाप्त कर स्वदेश लौटने का निर्णय लिया। उन्होंने दिल्ली हवाई अड्डे पर उतरते ही विदेश मंत्री एस. जयशंकर, विदेश सचिव विक्रम मिस्री और एनएसए अजीत डोभाल से आपात बैठक की। 23 अप्रैल को सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति (सीसीएस) की बैठक में सिंधु जल संधि को रद्द करने और अटारी-वाघा सीमा को बंद करने के ऐतिहासिक निर्णय लिए गए।
बाद में मंगलवार, 29 अप्रैल को PM Narendra Modi ने 90 मिनट की हाई-लेवल बैठक में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, एनएसए डोभाल, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल अनिल चौहान और तीनों सेनाओं के प्रमुखों के साथ निर्णय लिया कि सशस्त्र बलों को खुली छूट दी जाएगी। बुधवार, 30 अप्रैल को प्रधानमंत्री ने अपने आवास पर सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी, एनएसए डोभाल और विदेश मंत्री जयशंकर के साथ एक और महत्वपूर्ण बैठक की। 5 मई 2025 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एनएसए अजीत डोभाल के साथ महत्वपूर्ण बैठक की, जिसके बाद उन्होंने गृह सचिव से भी चर्चा की। इन बैठकों में जम्मू-कश्मीर की सुरक्षा स्थिति, आतंकी संगठनों के खिलाफ कार्रवाई और पाकिस्तान पर कूटनीतिक दबाव बढ़ाने की रणनीति पर व्यापक चर्चा हुई।
पाकिस्तान की रणनीति और सेना की तैयारियां
इस हमले के बाद भारत ने कड़े कदम उठाए, जैसे कि सिंधु जल संधि को स्थगित करना, पाकिस्तानी नागरिकों के वीजा रद्द करना और अटारी सीमा को बंद करना। सूत्रों का कहना है कि प्रधानमंत्री मोदी ने सेनाओं को जवाबी कार्रवाई का समय, लक्ष्य और प्रक्रिया निर्धारित करने में पूरी स्वतंत्रता दी है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी कहा कि आतंकवादियों को ‘मुंहतोड़ जवाब’ मिलेगा। भारतीय सेना को हाई अलर्ट पर रखा गया है और जम्मू-कश्मीर में तलाशी अभियान तेज कर दिए गए हैं। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) भी हमले की साजिश और आतंकी नेटवर्क का पता लगाने में जुटी है।