स्वर की कोकिला लता मंगेशकर हमारे बीच नहीं रही पर उनकी सादगी और गाने हमेशा हमारे बीच रहेंगे। 6 फरवरी को वह हमारे बीच से चली गई पर उनकी याद हमेशा उनके फैंस के दिलों में बसी रहेगी। लता दीदी के जाने के एक सप्ताह बाद उनकी अस्थियों को विसर्जित कर दिया गया है। लता मंगेशकर की अस्थियों को नासिक के पवित्र रामकुंड में प्रवाहित किया गया जिसके बाद अस्थियों के कुछ अवशेषों को मुंबई में भी प्रभावित किया गया।
बतादें कि मुंबई में सोमवार को उनके भाई हृदयनाथ, भतीजी रचना और भतीजे आदिनाथ ने मुंबई के पानी यानी गेटवे ऑफ इंडिया जाकर अरब सागर में भी लता दीदी की अस्थियों को विसर्जित किया। इनके साथ फैमिली के अन्य मेंबर्स भी मौजूद थे। दरअसल लता मंगेशकर मुंबई से बहुत प्यार करती थीं। उनकी फैमिली को लगा कि ये तभी सही होगा, जब उनकी अस्थियां मुंबई के पानी में विसर्जित कर दी जाएं। ये उस दिन तय किया गया था, जिस दिन लता जी का निधन हुआ था। ये ऐसा कुछ नहीं था, जो उनके निधन के बाद दूसरे या तीसरे दिन तय किया गया था।