रोजाना 1 चम्मच Cinnamon का सेवन करने से सेहत पर असर, जानिए Expert से

Cinnamon : ये आजकल वजन कम करने वालों का सर्वप्रिय पेय बनता जा रहा है

Cinnamon : मदरहुड हॉस्पिटल, लूला, पुणे की कंसल्टेंट डायटीशियन डीटी इशारा महदवी ने बताया कि महिलाओं को पीरियड के दौरान होने वाली समस्याओं को दूर करने और प्रजनन क्षमता में सुधार करने में दालचीनी का सेवन बेहद प्रभावी होता है।

दालचीनी, खाना पकाने में और औषधि के रूप में सदियों से उपयोग किया जाता है। दालचीनी का तीखा स्वाद खाने को स्वादिष्ट बनाता है और शरीर को कई लाभ भी देता है। आयुर्वेद में इस मसाले को दवा कहा जाता है जो कई क्रॉनिक बीमारियों को नियंत्रित करता है, जैसे मधुमेह। इसे खाने से मौसमी बीमारी दूर होती है। आजकल लोग इस मसाले का सेवन सुबह से शुरू करते हैं।

दालचीनी को रात भर पानी में भिगोकर सुबह पीते हैं। दालचीनी का पानी शरीर को शुद्ध करके वजन कम करता है। ये आजकल वजन कम करने वालों का सर्वप्रिय पेय बनता जा रहा है। ये मसाला महिलाओं के लिए बहुत उपयोगी है।

मदरहुड हॉस्पिटल, लूला, पुणे की कंसल्टेंट डायटीशियन डीटी इशारा महदवी ने बताया कि महिलाओं को पीरियड के दौरान होने वाली समस्याओं को दूर करने और प्रजनन क्षमता में सुधार करने में दालचीनी का सेवन बेहद प्रभावी होता है। इसका सेवन इम्युनिटी को मजबूत करता है और बीमारियों से बचाता है। आइए जानते हैं कि दालचीनी का दैनिक सेवन करने से शरीर को क्या लाभ मिलता है और इसकी न्यूट्रिशन गुणवत्ता क्या है।

अमेरिकी कृषि विभाग के अनुसार, एक चम्मच पिसी हुई दालचीनी में 6.42 कैलोरी कार्बोहाइड्रेट, 2.1 ग्राम कैल्शियम, 26.1 मिलीग्राम आयरन, 0.21 मिलीग्राम मैग्नीशियम, 1.56 मिलीग्राम फास्फोरस, 1.66 मिलीग्राम पोटैशियम, और 11.2 मिलीग्राम विटामिन ए, 0.39 मिलीग्राम है।

डायबिटीज को नियंत्रित रखने के लिए हर दिन Cinnamon (पानी में, खाने में या चाय में) खाना आसान है। 2012 में नेशनल सेंटर फॉर कॉम्प्लिमेंटरी एंड इंटीग्रेटिव हेल्थ ने कहा कि दालचीनी का सेवन टाइप-1 और टाइप-2 मधुमेह को लंबे समय तक नियंत्रित कर सकता है।

जिन लोगों का पाचन खराब है, वे दालचीनी की चाय बनाकर हर दिन खा सकते हैं। यह अपच, गैस, पेट दर्द और सीने में जलन का इलाज करता है।

फंगल रोगों से बचाव: दालचीनी के तेल को खाने से कई फंगल रोगों से बचाव मिलता है। 2016 के एक अध्ययन में दालचीनी का तेल एक प्रकार के कैंडिडा (ब्लड फ्लो को प्रभावित करने वाले कैंडिडा) के खिलाफ प्रभावी है। इसकी रोगाणुरोधी विशेषताएं इसका कारण हो सकती हैं। दालचीनी में मौजूद रोगाणुरोधी गुण इसलिए संक्रमण से बचाता है।

दालचीनी का पानी अल्जाइमर को दूर करता है, जैसा कि कई अध्ययनों ने दिखाया है। अल्जाइमर एक बुढ़ापे की बीमारी है जो याददाश्त को प्रभावित करती है। दालचीनी की छाल में ऐसे गुण हैं जो अल्जाइमर से बचाव करते हैं और याददाश्त को दुरुस्त करते हैं।

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