
Punjab Government News: पंजाब कैबिनेट ने ‘पंजाब दुकान एवं व्यावसायिक प्रतिष्ठान अधिनियम, 1958’ में संशोधन करके छोटे कारोबारियों के लिए नियमों को सरल बनाया।
Punjab Government News: पंजाब दुकान एवं व्यावसायिक प्रतिष्ठान अधिनियम, 1958 में संशोधन को आज पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान की अगुवाई में हुई कैबिनेट बैठक में मंजूरी दी गई, जो 95 प्रतिशत छोटे कारोबारियों पर लगने वाली शर्तों को कम करता है और कारोबार को सरल बनाता है।
मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में उनके सरकारी निवास पर हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में इस बारे में निर्णय लिया गया। मुख्यमंत्री कार्यालय के एक प्रवक्ता ने बताया कि इस प्रगतिशील संशोधन के अनुसार, 20 तक कर्मचारियों वाले सभी संस्थान इस अधिनियम के सभी प्रावधानों से मुक्त होंगे। इस कदम से पंजाब के लाखों दुकान मालिकों को सीधा लाभ मिलेगा। हालाँकि, ऐसे संस्थानों को इस अधिनियम के लागू होने के छह महीने के भीतर व्यवसाय शुरू करने से पहले श्रम विभाग को आवश्यक जानकारी देनी होगी।
कर्मचारियों की तनख्वाह में वृद्धि के लिए एक तिमाही में स्वीकृत अतिरिक्त घंटों की सीमा 50 से 144 कर दी गई। इसके अलावा, काम का दिन 10 घंटे से 12 घंटे कर दिया गया है, जिसमें आराम का समय भी है। साथ ही, प्रतिदिन 9 घंटे या सप्ताह में 48 घंटे से अधिक काम करने पर कर्मचारियों को नियमित दर से दोगुनी भुगतान मिलेगा।
रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया भी सरल कर दी गई है, अब 20 या उससे अधिक कर्मचारियों वाले संस्थानों को आवेदन जमा करने के 24 घंटे के भीतर पंजीकरण की स्वीकृति स्वतः मिलेगी। इस संशोधन के तहत 20 कर्मचारियों तक वाले संस्थानों को केवल प्रारंभिक रिपोर्टिंग की आवश्यकता होगी और रजिस्टर नहीं होगा।
साथ ही, दंडों को तर्कसंगत बनाने के लिए धारा 21 और 26 में न्यूनतम जुर्माना 25 रुपये से बढ़ाकर 1000 रुपये और अधिकतम जुर्माना 100 रुपये से बढ़ाकर 30,000 रुपये किया गया है।
पहली, दूसरी और तीसरी उल्लंघना के बीच, कारोबारियों को शर्तों का पालन करने के लिए समय देने के लिए तीन महीने का समय दिया जाएगा। धारा 26ए जोड़ी गई है ताकि इस अधिनियम को आपराधिक श्रेणी से बाहर रखा जा सके और दुकानदारों को अदालतों के चक्कर से बचाया जा सके। इसके अतिरिक्त, श्रमिकों के हितों की सुरक्षा हेतु विभिन्न श्रम कानूनों के माध्यम से उपलब्ध सभी अधिकारों का पालन सुनिश्चित किया जाएगा।